रामनवमी को देखते हुए पूरे पश्चिम बंगाल में सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए हैं । कानून-व्यवस्था को बनाए रखने के लिए कोलकाता में साढ़े तीन हजार से अधिक जवानों को तैनात किया गया है । कसिपोर, खिदिरपुर और चितपुर जैसे संवेदनशील क्षेत्रों में निगरानी के लिए क्विक रेस्पांस टीम को लगाया गया है ।
रामनवमी के दिन निकलने वाले जुलूसों पर नजर रखने के लिए सीसीटीवी कैमरो के साथ-साथ ड्रोन कैमरों का भी इंतजाम किया गया है । पूरी व्यवस्था पर डिप्टी कमिश्नर और जॉइंट कमिश्नर रैंक के अधिकारियों की निगरानी रहेगी ।
कोलकाता में 60 से अधिक जुलूस निकलने की संभावना
राज्य पुलिस के मुताबिक सिर्फ कोलकाता में ही 60 से अधिक जुलूस निकलने की संभावना है । रविवार की सुबह से ही राज्यभर में पूजा-पाठ से लेकर अन्य कार्यक्रम शुरू हो जाएगा । इस दिन बड़ी संख्या में जुलूस निकाले जाते हैं जिस दौरान खास तौर से चौकसी की जरूरत पड़ती है ।
रामनवमी के जुलूसों पर कोलकाता पुलिस के हेडक्वार्टर से भी नजर रखी जाएगी . सभी रैलियों की लाइव स्ट्रीमिंग होगी । 20 से अधिक आईपीएस अधिकारियों को अलग-अलग डिवीजनों की जिम्मेदारी सौंपी गई है । राज्य के सभी जिलों में वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों को हालात पर नजर बनाए रखने को कहा गया है ।
शुभेंदु अधिकारी ने कहा-1.5 करोड़ हिंदू सड़क पर उतरेंगे
बंगाल में 2026 में विधानसभा चुनाव होने हैं । इसकी वजह से रामनवमी पर राज्य में राजनीति भी तेज हो गई है । खास बात यह है कि इस बार बीजेपी और अन्य हिंदूवादी संगठनों के साथ-साथ ममता बनर्जी की तृणमूल कांग्रेस ने भी रामनवमी के अवसर पर जुलूसों की घोषणा की है ।
गौरतलब है कि पिछले साल रामनवमी के मौके पर पश्चिम बंगाल में हिंसा की कई घटनाएं सामने आई थी । इस बार बीजेपी नेता शुभेंदु अधिकारी ने 1.5 करोड़ हिंदूओं के रामनवमी जुलूसों में शामिल होने की बात कही है । उनके मुताबिक राज्य भर में 2000 रेलियां निकाली जाएंगी । ऐसे में लोगों की सुरक्षा और कानून-व्यवस्था को बनाए रखना प्रशासन के लिए बड़ी चुनौती है ।