उत्तर प्रदेश के संभल जिले की ऐतिहासिक शाही जामा मस्जिद एक बार फिर चर्चा में है, इस बार किसी बयान या धार्मिक याचिका को लेकर नहीं, बल्कि भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (ASI) द्वारा लगाए जाने वाले एक नए साइन बोर्ड की वजह से। इस बोर्ड में मस्जिद का नाम बदलकर "जुमा मस्जिद" लिखा गया है।
एएसआई ने कहा– रिकॉर्ड में दर्ज है "जुमा मस्जिद"
भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (ASI) का कहना है कि यह नया साइनबोर्ड उनके आधिकारिक दस्तावेजों में दर्ज नाम के आधार पर लगाया जा रहा है। एएसआई के वकील विष्णु शर्मा ने बताया कि पहले भी मस्जिद परिसर के भीतर एक नीले रंग का एएसआई बोर्ड इसी नाम के साथ मौजूद था।
उन्होंने यह भी कहा कि इससे पहले एक एएसआई बोर्ड मस्जिद के बाहर लगाया गया था, जिसे कथित तौर पर कुछ लोगों ने हटा दिया और उसकी जगह “शाही जामा मस्जिद” लिखा हुआ एक नया बोर्ड लगा दिया था। अब एएसआई ने दस्तावेजों के अनुसार ही “जुमा मस्जिद” नाम से नया बोर्ड जारी किया है।
बता दें संभल की यह मस्जिद पहले भी विवादों में रह चुकी है। एक याचिका में दावा किया गया था कि यह स्थल किसी प्राचीन हिंदू मंदिर का स्थान था। इस दावे की जांच के लिए 24 नवंबर 2023 को एएसआई द्वारा जब मस्जिद का सर्वेक्षण किया गया, तो इलाके में हिंसा भड़क उठी थी।
इस हिंसा में चार लोगों की मौत हो गई थी और कई अन्य घायल हुए थे। इसके बाद इंटरनेट सेवाएं बंद कर दी गई थीं और कर्फ्यू भी लगाया गया था। पुलिस और प्रशासन को इलाके में शांति बहाल करने में कई दिन लग गए थे।
अब एएसआई द्वारा लगाए जा रहे नए नाम के बोर्ड को लेकर एक बार फिर से संवेदनशील माहौल बनने की आशंका जताई जा रही है। हालांकि, अभी तक इस साइनबोर्ड को लेकर किसी संगठन या समुदाय की ओर से कोई औपचारिक आपत्ति या विरोध दर्ज नहीं किया गया है।
स्थानीय प्रशासन स्थिति पर कड़ी नजर बनाए हुए है और किसी भी प्रकार की अफवाह या तनाव को रोकने के लिए तैयारियां कर ली गई हैं। अधिकारियों का कहना है कि कानूनी दस्तावेजों के अनुसार कार्य किया जा रहा है, जिससे किसी पक्ष को अनावश्यक रूप से प्रभावित न किया जाए।