दिल्ली में ‘फुलेरा पंचायत’ वाली सरकार! क्या दिल्ली के दो मुख्यमंत्री है?
अमेज़न प्राइम की प्रधान मंजू देवी और उनके प्रधान पति की कहानि तो खूब चाव से देखी होगी, हंसे भी होंगे लेकिन ऐसी ही तस्वीर आपको किसी सीरियल में नहीं सच्ची में दिखे तो क्या कहेंगे- शायद हंसेंगे और महिला नेता पर हंसेंगे, तो दिल्ली की सीएम रेखा गुप्ता पर भी विपक्ष ऐसे ही हंस रहा है क्योंकि वो भी एक सरकारी मीटिंग में अपने पति के साथ पहुंची जब अधिकारी उनको शायद गुप्त जानकारियां दे रहे थे तो उनके पति भी वहीं मौजूद थे। जो शायद सीएम पति के कद का एहसास कराने के लिए काफी है, तस्वीर तो आपने देख ली अब वो शपथ भी सुन लीजिए जो उन्होंने मुख्यमंत्री बनते समय ली थी, सुना हर जानकारी गुप्त रखी जाएगी लेकिन यहां तो सरकारी बैठक में उनके पति सारी बातें सुन रही थी, क्या रेखा गुप्ता ने कसम तोड़ दी? क्या रेखा गुप्त कसम को नहीं मानती ये सवाल उठने तो लाजिमी है। केजरीवाल यानि आम आदमी पार्टी ने देखते ही देखते तस्वीर को वायरल कर दिया और लिख दिया दिल्ली में फुलेरा पंचायत वाली सरकार।
CM रेखा गुप्ता के पति का बैठक में होना बिल्कुल सही!
विपक्षी दल इसे 'फुलेरा पंचायत' का सीन' बता रहे हैं और कह रहे हैं कि सत्ता के फैसले केवल मुख्यमंत्री तक सीमित नहीं, दिल्ली में सीएम रेखा गुप्ता की मीटिंग में उनके पति मनीष गुप्ता की मौजूदगी ने सवाल खड़े कर दिए हैं कि क्या सत्ता का पर्दे के पीछे इस्तेमाल हो रहा है? सवाल उठे और उठने भी चाहिए कि आखिर
सरकारी बैठक में मुख्यमंत्री के पति क्या कर रहे थे ?
क्या बिना किसी पद के सुपर सीएम हैं रेखा गुप्ता के पति ?
इसके साथ ही सोशल मीडिया पर आरोपों की राजनीति भी शुरु हो गई
अरविंद केजरीवाल ने रेखा गुप्ता को घेरा।
दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता की मीटिंग में उनके पति मनीष गुप्ता की मौजूदगी पर AAP ने कड़ी प्रतिक्रिया दी। पार्टी ने मीटिंग की तस्वीर के साथ 'पंचायत' वेब सीरीज के एक सीन का वीडियो शेयर करते हुए लिखा, "दिल्ली में 'फुलेरा की पंचायत’ की सरकार। CM रेखा गुप्ता के पति ले रहे अधिकारियों की मीटिंग।"
AAP नेता संजय सिंह ने कहा, "फुलेरा पंचायत में आपका स्वागत है। प्रधानमंत्री मोदी ने दिल्ली में दो मुख्यमंत्री बनाए हैं। रेखा गुप्ता मुख्यमंत्री हैं, उनके पति सुपर मुख्यमंत्री हैं। भाजपा ने 6 महीने में दिल्ली का कबाड़ा कर दिया है।"
कांग्रेस ने भी सवाल उठाया कि सरकार वास्तव में मैडम रेखा गुप्ता चला रही हैं या उनके पति। इसके अलावा, 12 अप्रैल को हुई दिल्ली नगर निगम, जल बोर्ड, PWD और दिल्ली अर्बन सेंटर इम्प्रूवमेंट बोर्ड की मीटिंग में भी मनीष गुप्ता सीएम रेखा के साथ नजर आए थे।
बीजेपी ने आम आदमी को दिया जवाब।
अब इतने सवाल उठेंगे तो जवाब भी तो आएगा, बीजेपी की फौज भी जवाबों की तलवार लेकर सोशल मीडिया पर कूद गई और हर आरोप को तर्कों से काटने लगी। दिल्ली भाजपा के नेता हरीश खुराना ने बताया, "मनीष गुप्ता सिर्फ रेखा गुप्ता के पति नहीं हैं, बल्कि शालीमार बाग के क्षेत्र की भी देखरेख कर रहे थे। वह समाजसेवी के रूप में लोगों की समस्याओं और प्रतिनिधिमंडलों का नेतृत्व कर रहे थे। चूंकि बैठक में केवल अधिकारी ही नहीं, बल्कि कुछ निवासियों को भी शामिल किया गया था, इसलिए एक प्रतिनिधि के रूप में वह वहां मौजूद रह सकते थे।"
AAP के आरोपों पर बीजेपी आईटी सेल के प्रमुख अमित मालवीय ने कहा कि आम आदमी पार्टी को सीएम रेखा गुप्ता पर हमला करने के लिए कोई और तरीका सोचना चाहिए। उन्होंने बताया कि रेखा गुप्ता अपनी निर्वाचन क्षेत्र की मीटिंग कर रही थीं और इसका सारा प्रबंध उनके पति मनीष गुप्ता कर रहे थे, ठीक वैसे ही जैसे पहले शीला दीक्षित के क्षेत्र का काम उनकी बहन रमा धवन करती थीं या अरविंद केजरीवाल के इलाके की देखभाल सुनीता केजरीवाल करती थीं।
मालवीय ने साफ कहा कि मनीष गुप्ता कभी मुख्यमंत्री की कुर्सी पर नहीं बैठे और न ही वरिष्ठ अधिकारियों को गैरकानूनी आदेश देने के लिए मजबूर किया, जैसा कि कुछ लोग बता रहे हैं। उन्होंने आगे कहा कि सीएम को सिर्फ इसलिए निशाना बनाना बंद करना चाहिए क्योंकि वह एक महिला हैं, और वह अपने काम में बहुत अच्छी हैं, हर दिन अरविंद केजरीवाल से भी ज्यादा प्रभावी साबित हो रही हैं।