भारत और पाकिस्तान के बीच क्रिकेट मैच हमेशा से ही रोमांच और भावनाओं का तूफान लाता है। रविवार को हुए हाई-वोल्टेज मुकाबले में भारतीय कप्तान सूर्यकुमार यादव ने न सिर्फ मैदान पर पाकिस्तान को करारी शिकस्त दी, बल्कि खेल भावना को लेकर उठे सवालों का भी करारा जवाब दिया। इस मैच में भारत ने शुरू से अंत तक दबदबा बनाए रखा, लेकिन असली चर्चा तब शुरू हुई जब सूर्यकुमार और उनकी टीम ने टॉस के समय और मैच के बाद पाकिस्तानी खिलाड़ियों से हाथ मिलाने से इनकार कर दिया।
क्या थी वजह?
यह फैसला पहलगाम आतंकी हमले की पृष्ठभूमि में लिया गया, जिसने पूरे देश को झकझोर कर रख दिया था। सूर्यकुमार ने स्पष्ट किया कि यह फैसला पूरी टीम का था और इसमें बीसीसीआई का भी समर्थन था। प्रेस कॉन्फ्रेंस में जब एक पत्रकार ने उनसे पूछा कि क्या हाथ न मिलाना खेल भावना के खिलाफ था, तो सूर्या ने जवाब दिया, "कुछ चीजें खेल भावना से ऊपर होती हैं। हम सिर्फ खेलने आए थे और हमने उन्हें मैदान पर जवाब दिया।"
सूर्यकुमार ने आगे बताया कि यह निर्णय टीम के स्टाफ के एक महत्वपूर्ण सदस्य के सुझाव पर लिया गया था। उन्होंने कहा, "हम अपनी सरकार और बीसीसीआई के साथ एकजुट हैं। यह जीत भारत के सशस्त्र बलों और पहलगाम हमले के पीड़ितों को समर्पित है। जय हिंद!" सूर्या की इस बात ने सोशल मीडिया पर तहलका मचा दिया, जहां कई प्रशंसकों ने उनकी देशभक्ति की तारीफ की।
पाकिस्तानी टीम की निराशा
मैच के बाद पाकिस्तान के कप्तान सलमान अली आगा प्रेजेंटेशन सेरेमनी में नजर नहीं आए। पाकिस्तानी टीम के हेड कोच माइक हेसन ने बताया कि सलमान इस बात से निराश थे कि भारतीय खिलाड़ी हाथ मिलाने के लिए मैदान पर नहीं आए। हेसन ने कहा, "हम सभी ग्राउंड पर इंतजार कर रहे थे, लेकिन भारतीय खिलाड़ी ड्रेसिंग रूम में चले गए और दरवाजा बंद कर लिया।" इस घटना के बाद पाकिस्तानी समर्थकों ने सोशल मीडिया पर खेल भावना की दुहाई दी, लेकिन भारतीय प्रशंसकों का कहना था कि पहलगाम हमले के बाद यह प्रतिक्रिया स्वाभाविक थी।
पहले भी हुई थी आलोचना
एशिया कप 2025 शुरू होने से पहले कप्तानों की प्रेस कॉन्फ्रेंस में सलमान अली आगा ने सूर्यकुमार से हाथ मिलाने के लिए हाथ बढ़ाया था, जिसे सूर्या ने अनमने ढंग से स्वीकार किया था। इस घटना का वीडियो वायरल होने के बाद सूर्यकुमार की सोशल मीडिया पर काफी आलोचना हुई थी। कुछ लोगों ने उन्हें इग्नोर करने की कोशिश के लिए ट्रोल किया था, लेकिन रविवार के मैच में सूर्या ने अपने फैसले से साफ कर दिया कि वह और उनकी टीम देश के प्रति अपनी एकजुटता दिखाने में पीछे नहीं हटेगी।
सूर्या का भावुक संदेश
मैच के बाद सूर्यकुमार ने सोशल मीडिया पर एक पोस्ट में लिखा, "यह जीत भारत के सशस्त्र बलों और पहलगाम हमले के पीड़ितों को समर्पित है। जय हिंद!" पोस्ट-मैच प्रेजेंटेशन में भी उन्होंने पहलगाम के पीड़ित परिवारों के प्रति अपनी संवेदना व्यक्त की और कहा कि भारतीय टीम उनके साथ खड़ी है।
खेल से ज्यादा देश पहले
इस पूरे विवाद ने एक बार फिर साबित कर दिया कि भारत-पाकिस्तान क्रिकेट सिर्फ एक खेल नहीं, बल्कि भावनाओं का एक समंदर है। सूर्यकुमार यादव ने अपने फैसले और बयान से साफ कर दिया कि जब बात देश की आन-बान-शान की हो, तो खेल भावना से ज्यादा महत्वपूर्ण देशभक्ति होती है।
इस जीत ने न सिर्फ भारतीय प्रशंसकों का दिल जीता, बल्कि सूर्यकुमार यादव की अगुवाई में टीम इंडिया ने एक बार फिर दिखा दिया कि मैदान पर और मैदान के बाहर भी वह अपने देश के साथ मजबूती से खड़ी है।