केजरीवाल का असली विरोधी कौन ? लुधियाना में पेंच किसने फँसाया ?

Authored By: News Corridors Desk | 14 Jun 2025, 05:59 PM
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दिल्ली में करारी हार के बाद से आम आदमी पार्टी के मुखिया अरविंद केजरीवाल पंजाब में डेरा जमाए बैठे हैं । बताया जा रहा है कि अब वो राज्यसभा में जाने के लिए लुधियाना सीट पर नज़रें गड़ाए बैठे हैं । इसलिए यहां विधानसभा सीट के लिए होने वाले उपचुनाव में खुद गली-गली घूम-घूम कर अपनी पार्टी के उम्मीदवार संजीव अरोड़ा को जीताने के लिए पसीना बहा रहे हैं । 

खास बात यह है कि सामने टक्कर देने के लिए खड़ा है कांग्रेस, जिसके साथ 2024 के लोकसभा चुनाव में केजरीवाल गलबहियां डाल कर बीजेपी के खिलाफ ताल ठोकते नजर आए थे । अब दोनों ही पार्टियां एक-दूसरे को ही निपटाने में लगी हैं । 

लुधियाना सीट पर चुनाव बड़ा दिलचस्प हो चुका है । अरविंद केजरीवाल संजीव अरोड़ा की जीत के सहारे राज्यसभा जाने का सपना देख रहे हैं । उपचुनाव में अरोड़ा की जीत के बाद उनके राज्यसभा की सदस्यता से इस्तीफा देने की संभावना जताई जा रही है क्योंकि तभी केजरीवाल के लिए रास्ता खुलेगा । ऐसे में केजरीवाल हर हाल में संजीव अरोड़ा की जीत सुनिश्चित करना चाहते हैं । इसके लिये वो कभी वोटर्स को डराते दिख रहे हैं तो कभी मनाते दिख रहे हैं , लेकिन यहाँ भी कांग्रेस जीत में रोड़ा बनती दिख रही है।

कांग्रेस लुधियाना में काफी आक्रामक चुनाव प्रचार कर रही है । आम आदमी पार्टी के संजीव अरोड़ा के खिलाफ कांग्रेस की तरफ से भारत भूषण आशू खड़े हैं जो केजरीवाल पर हमला बोलने में कोई कोर-कसर नहीं छोड़ रहे हैं । 

कांग्रेस के निशाने पर केजरीवाल

लुधियाना उपचुनाव में कांग्रेस उम्मीदवार भारत भूषण आशू केजरीवाल की कथनी-करनी का फर्क और उनके तौर-तरीकों को लेकर घेरने की कोशिश कर रहे हैं । भारत भूषण आशू ने कहा- ' आम आदमी पार्टी तानाशाही रवैये से पंजाब में डटे रहना चाहती है । केजरीवाल कहते हैं विपक्ष कुछ नहीं कर सकता । दिल्ली हारने के बाद पंजाब में अब गुंडई सरकार चलाई जा रही है ।

 कांग्रेस प्रवक्ता पवन खेड़ा ने कहा कि, दिल्ली में हार के बाद आम आदमी पार्टी की ठगी की दुकान बंद हो गई है । अब दिल्ली से बेल पर आए लोग पंजाब में उगाही कर रहे हैं । खेड़ा ने कहा कि पंजाब कर्ज में डूबा हुआ है और केजरीवाल पंजाब के पैसे से गुजरात और अन्य स्थानों पर हवाई यात्रा करते हैं । वो कहते हैं कि पंजाब में नशे की समस्या को खत्म कर देंगे, लेकिन दिल्ली में उनका आधा मंत्रिमंडल शराब घोटाले में जेल में था ।

पंजाब के पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस सासंद चरणजीत सिंह चन्नी केजरीवाल के पुराने वादों की पोल खोलते घूम रहे हैं । उन्होंने कहा कि, विधानसभा चुनाव से पहले महिलाओं को 1000 रुपये प्रति माह देने का वादा किया गया । इसके लिए फॉर्म भरवाकर वोट बटोरे गए, लेकिन 40 महीने बीत जाने के बाद भी महिलाओं को एक भी रुपया नहीं मिला है। पंजाब की महिलाएं अपनी मां से रोज पूछती हैं कि दिल्ली वाले केजरीवाल अंकल उनके खातों में कब पैसे डालेंगे।

क्या है कांग्रेस की रणनीति ? 

अब यह बात किसी से छुपी नहीं है कि कांग्रेस ने दिल्ली में केजरीवाल को तगड़ा झटका दिया था । लेकिन लोकसभा चुनाव में हुई दोस्ती विधानसभा चुनाव आते-आते कट्टर दुश्मनी में क्यों बदल गई ? दरअसल कांग्रेस ने यह रणनीति इसलिए अपनाई ताकि AAP को कमजोर कर पंजाब में अपनी स्थिति मजबूत की जा सके ।

इसमें कोई शक नहीं है कि दिल्ली की हार के बाद आम आदमी पार्टी की विश्वसनीयता कम हुई है । कांग्रेस अब इसे ही अपनी हथियार बनाकर इस्तेमाल कर रही है । कांग्रेस की रणीनीति है कि पंजाब में AAP के खिलाफ भ्रष्टाचार और नशा जैसे मुद्दे उठाए जाएं जिनपर लगाम लगाने में आम आदमी की सरकार बुरी तरह से विफल रही है ।

पंजाब में 2027 के विधानसभा चुनाव है । इससे पहले कांग्रेस अपनी जमीनी ताकत को मजबूत करने में जुटी है, खासकर ग्रामीण और सिख वोटरों को साधने की भरपूर कोशिश कर रही है । 
ऐसा लगता है कि केजरीवाल को भी आनेवाली चुनौतियों का अच्छी तरह से एहसास है । माना जा रहा है कि इसी वजह से वह राज्यसभा का रूख करना चाहते हैं ।

 इसके लिए जरूरी है राज्य सभा सांसद संजीव अरोड़ा लुधियाना सीट जीत जाएं ताकि AAP के कोटे वाली एक राज्यसभा की सीट ख़ाली हो और वहां से अरविंद केजरीवाल राज्यसभा में एंट्री करें ।