पटना। सरदार बल्लभ भाई पटेल की 150वीं जयंती के अवसर शुक्रवार को स्टेच्यू ऑफ यूनिटी पर एक भव्य परेड निकाली जाएगी। विशेष आयोजन किया गया है। इसके साथ ही गृह मंत्रालय ने तय किया है कि हर वर्ष 31 अक्टूबर को इसी प्रकार की भव्य परेड का आयोजन होगा।
केद्रीय गृह व सहकारिता मंत्री अमित शाह ने एक संवाददाता सम्मेलन में यह जानकारी देते हुए कहा कि यह परेड देश की एकता और अखंडता को सुनिश्चित करने के लिए सभी केन्द्रीय सशस्त्र पुलिस बलों (CAPFs) और राज्यों के पुलिस बलों के सम्मान में आयोजित की जाती है। उन्होंने कहा कि यह परेड देश की एकता और अखंडता की प्रतिमूर्ति सरदार पटेल की प्रतिमा के सामने आयोजित होगी।
गृह मंत्री ने बताया कि इस बार एकता दौड़ (Run For Unity) को भी बड़े स्तर पर आयोजित करने का निर्णय लिया गया। देश के सभी राज्य, केन्द शासित प्रदेश, जिला पुलिस स्टेशन, स्कूलों और विश्वविद्यालयों में एकता दौड़ का आयोजन हो रहा है।
शाह ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी शुक्रवार सुबह एकता नगर में होने वाली भव्य परेड की सलामी लेंगे। इस वर्ष परेड में CRPF के 5 शौर्य चक्र और BSF के 16 वीरता पदक विजेता भी शामिल होंगे। परेड का नेतृत्व महिला पुलिस अधिकारियों द्वारा किया जाएगा और इसमें कई प्रकार के सांस्कृतिक प्रदर्शन भी होंगे। उन्होंने कहा कि हर राज्य पुलिस बल और CAPFs के जवान अपना सांस्कृतिक कौशल का भी परिचय कराएंगे। BSF का ऊंट दल और ऊंट सवार बैंड भी परेड की शान बढ़ाएगा, गुजरात का घुड़सवार दस्ता असम पुलिस का मोटरसाइकिल डेयरडेविल शो और पंजाब और कश्मीर पुलिस भी इस परेड का हिस्सा बनेंगे। इसके अलावा, NSG, NDRF, अंडमान निकोबार द्वीप समूह, पुड्डुचेरी और जम्मू कश्मीर पुलिस भी परेड के दौरान अपनी झांकियां प्रस्तुत करेंगे। वायुसेना की सूर्यकिरण टीम का भव्य एयरशो इस परेड का शिखर बिंदु होगा। देशभर से 900 से अधिक कलाकार हमारे देश की सांस्कृतिक विरासत को देश औऱ दुनिया के सामने रखेंगे।
गृह एवं सहकारिता मंत्री ने कहा कि दुर्भाग्य की बात है सरदार पटेल के निधन के बाद सरदार पटेल को भुलाने में विपक्ष ने कोई कसर नहीं छोड़ी। उन्होंने कहा कि सरदार जैसे महान व्यक्तित्व को भी भारत रत्न मिलने में 41 साल की देरी हुई और वह देरी सिर्फ और सिर्फ विपक्ष के सरदार के प्रति एक उपेक्षा के भाव के कारण हुई। उन्होंने कहा कि सरदार पटेल जैसे महान व्यक्तित्व के लिए पूरे दश में न कोई समाधि बनी और न कोई स्मारक बना। उन्होंने कहा कि जब नरेन्द्र मोदी गुजरात के मुख्यमंत्री बने तब उन्होंने स्टेच्यू ऑफ यूनिटी की रचना की और सरदार पटेल की समृति में एक भव्य स्मारक बनाया।